उल्हासनगर : हरेश अशोक बोधा
उल्हासनगर-5 में लंबे समय से चल रही अनधिकृत डंपिंग ग्राउंड की समस्या के समाधान को लेकर आज एक महत्वपूर्ण बैठक संपन्न हुई। डंपिंग हटाव संघर्ष समिति के प्रतिनिधिमंडल ने उल्हासनगर नगर पालिका के आयुक्त श्री विकास ढाकने से मुलाकात की और उन्हें क्षेत्र में कचरे की समस्या के कारण उत्पन्न हो रही गंभीर स्वास्थ्य और पर्यावरणीय समस्याओं से अवगत कराया।
बैठक में, आयुक्त विकास ढाकने ने समिति को आश्वासन दिया कि वह इस समस्या के समाधान के लिए त्वरित और ठोस कदम उठाएंगे। उन्होंने बताया कि जिस प्रकार उन्होंने पिंपरी चिंचवड़ में अपने कार्यकाल के दौरान कचरा प्रबंधन की दिशा में कार्य करके उस शहर को स्वच्छता में देश के शीर्ष स्थान पर पहुंचाया, उसी तरह की कार्यप्रणाली को उल्हासनगर में भी लागू किया जाएगा। उनका यह बयान उल्हासनगर के नागरिकों के लिए एक बड़ी राहत के रूप में देखा जा रहा है, जो कचरे के बढ़ते ढेर और उससे उत्पन्न संकट से परेशान थे।
डंपिंग हटाव संघर्ष समिति के इस प्रतिनिधिमंडल में कई प्रमुख नागरिक और सामाजिक कार्यकर्ता शामिल थे। बैठक में प्रमुख रूप से रोहित साल्वे (पूर्व ग्रुप लीडर), अंजलि साल्वे (डंपिंग हटाओ मंच), प्रकाश रोहरा (उल्हास सिटीजन फोरम), नरेश तेहलरामानी, मोहन पुरुषनानी (कायडेन वागा संस्था), राज असरोंडकर, कुलदीप ऐलसिंघानी, किशोर धड़के (आरटीआई कार्यकर्ता), मोती लुधवानी, निहाल रूपेकर और कालिंदी गवई उपस्थित थे। इन सभी ने आयुक्त के सामने कचरे की समस्याओं को विस्तार से रखा और तत्काल कदम उठाने की मांग की।
इस बैठक से उल्हासनगर-5 के नागरिकों में एक नई उम्मीद जगी है कि जल्द ही अनधिकृत डंपिंग ग्राउंड से उन्हें राहत मिलेगी और उनका शहर स्वच्छता के नए मानकों पर खरा उतरेगा।
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