कल्याण : हरेश अशोक बोधा
मलंगगड या हाजी मलंग पहाड़ी जाने वालों के लिए नए साल की बड़ी सौगात मिलने जा रही है। पिछले 11 साल से निर्माणाधीन फनिक्युलर ट्रेन का काम पूरा हो चुका है, और इस महीने से इसका संचालन शुरू होने की उम्मीद है। सूत्रों के अनुसार, लोक निर्माण विभाग (PWD) 25 या 26 जनवरी को इस परियोजना का उद्घाटन कर सकता है।
मलंगगड पहाड़ी पर हिंदू और मुस्लिम समुदायों के धार्मिक स्थल स्थित हैं, जहां हर साल हजारों भक्त दर्शन करने आते हैं। इसके अलावा, यह स्थल ठाणे, मुंबई और नवी मुंबई के प्रकृति प्रेमियों के बीच भी लोकप्रिय है। वर्तमान में पहाड़ी तक पहुंचने के लिए 2,600 सीढ़ियां चढ़नी पड़ती हैं, जिसमें दो घंटे से अधिक समय लगता है। फनिक्युलर ट्रेन शुरू होने के बाद यह सफर मात्र 10 मिनट का रह जाएगा। इससे वरिष्ठ नागरिकों, विकलांगों और बच्चों को विशेष लाभ होगा।
एक बार में 120 लोगों की क्षमता
फनिक्युलर रूट पर दो ट्रेनें चलेंगी—एक ऊपर और एक नीचे। प्रत्येक ट्रेन में 120 लोगों के बैठने की क्षमता होगी। यह दो-डिब्बे वाली ट्रेन है। ठाणे डिवीजन के एक वरिष्ठ पीडब्ल्यूडी अधिकारी ने बताया कि सभी सुरक्षा उपायों और परीक्षण पूरे कर लिए गए हैं।
स्थानीय समुदाय और व्यापार को मिलेगा प्रोत्साहन
मलंगगड में सैकड़ों लोग गेस्ट रूम, रेस्तरां और माला-फूल के व्यापार से जुड़े हैं। इस ट्रेन के शुरू होने से उन्हें अपनी आजीविका में सुधार की उम्मीद है। स्थानीय व्यापारियों का कहना है, "यह परियोजना पर्यटन को बढ़ावा देगी और उन लोगों को आकर्षित करेगी जो सीढ़ियां चढ़ने के डर से यहां नहीं आते थे।"
परियोजना का संक्षिप्त विवरण:
● शुरुआत की योजना: फरवरी 2013
● निर्माण कार्य शुरू: अक्टूबर 2013
● प्रारंभिक लागत: ₹10.42 करोड़, संशोधित लागत ₹93 करोड़
● ट्रैक की लंबाई: 1.2 किलोमीटर
● कर्मचारी: संचालन और रखरखाव के लिए 70 कर्मचारी
● परियोजना में देरी के कारण: तकनीकी और भौगोलिक चुनौतियां
फनिक्युलर ट्रेन शुरू होने से मलंगगड का धार्मिक और पर्यटक महत्व और अधिक बढ़ने की संभावना है।
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